तेल निष्कर्षण प्रौद्योगिकी में आत्मनिर्भरता की ओर भारत के कदम
स्वयंचालित हाइड्रोलिक वर्कओवर रिग्स को सराहा
ओएनजीसी के लिए एचएच 150 वर्कओवर रिग्स का भारत में निर्माण
- बैतूल, गोवा।
भारत जैसे विकासशील देश में ऊर्जा संसाधनों का महत्व असाधारण है। पेट्रोलियम जरूरतों को पूरा करने के लिये भारत 80 प्रतिशत से अधिक इंधन की आयात करता है। इससे भारत की अधिकांश विदेशी मुद्रा का खर्च होता है। ओएनजीसी और अन्य कंपनियां भारत के अपने तेल क्षेत्रों में तेल उत्पादन बढ़ाने की कोशिश कर रही हैं। भारत अब तेल अन्वेषण के लिए उपयोग किए जाने वाले स्वदेशी स्वचालित हाइड्रोलिक वर्कओवर रिग्स के उत्पादन में अच्छा प्रदर्शन कर रहा है। केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने गोवा में चल रहे भारत ऊर्जा सप्ताह 2024 का दौरा करने के बाद प्रदर्शित स्वदेशी रिग्स की सराहना की।
इसका निर्माण मेघा इंजीनियरिंग एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड (MEIL) और उसकी सहायक कंपनी ड्रिलमेक द्वारा किया गया है। ओएनजीसी द्वारा एमईआईएल को इस संयंत्रों की आपूर्ति का ठेका दिया गया है। प्रदर्शन पर एचएच 150 हाइड्रोलिक वर्कओवर रिग की सराहना करते हुए, मंत्री श्री हरदीप सिंह ने सोशल मीडिया पर अपनी प्रतिक्रिया दर्ज की है।
श्री हरदीप सिंह ने कहा है, “एमईआईएल उच्च सुरक्षा मानकों के साथ 55% मेक इन इंडिया सामग्री (ड्रिलमेक एसपीए इटली द्वारा प्रौद्योगिकी) का उपयोग करके विकसित नई पीढ़ी के स्वचालित रिग को देखकर प्रसन्न है। भारत की ऊर्जा यात्रा को सशक्त बनाने के लिए ऐसे 20 स्वचालित रिग @ONGC_ को वितरित किए जा रहे हैं।”
इस अवसर पर एमईआईएल के प्रबंध निदेशक पीवी कृष्णा रेड्डी भी उनके साथ थे । कृष्णा रेड्डी ने कहा कि एमईआईएल घरेलू उत्पादन क्षमता बढ़ाने के लिए तेल और गैस की खोज में तेजी लाने के लिए विश्व स्तरीय उपकरणों की आपूर्ति करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने बताया कि आत्मनिर्भर भारत की नीति के तहत ऊर्जा सामग्रियों का स्वदेशी उत्पादन कंपनी एक प्रमुख उद्देश्य है।
इसके अलावा, MEIL ने अपनी सहायक कंपनियों ओलेक्ट्रा, एवे ट्रांस, मेघा गैस और ICOMM के उत्पादों का भी प्रदर्शन किया, जो इलेक्ट्रिक गतिशीलता, परिवहन, स्वच्छ ईंधन और संचार बुनियादी ढांचे पर काम करते हैं।